




धरणेन्द्र जैन
खैरवाड़ा। बीआरपी एवं वीआरपी संघ उदयपुर द्वारा सामाजिक अंकेक्षण को नरेगा एक्ट के अनुसार सफल कार्यक्रम आयोजन हेतु निर्देशक सामाजिक अंकेक्षण राजस्थान सरकार के नाम जिला कलेक्टर एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी द्वारा ज्ञापन देकर सामाजिक अंकेक्षण में आ रही बाधा के निस्तारण के लिए ज्ञापन दिया। संपादक डॉ ललित नारायण आमेटा द्वारा बताया की भारत सरकार द्वारा सरकारी जन कल्याण योजना आम जनता तक धरातल तक पहुंचने के प्रति सामाजिक अंकेक्षण द्वारा जांच की एक प्रक्रिया है। दिसंबर के प्रथम कैलेंडर सामाजिक अंकेक्षण के पांचवें दिन ग्राम विकास अधिकारी संघ द्वारा सामाजिक अंकेक्षण का बहिष्कार कर ग्रामसभा आयोजन का भी बहिष्कार घोषणा की। बीआरपी को सामाजिक अंकेक्षण दस्तावेज का उपलब्ध कराने से मना कर दिया जिससे सामाजिक अंकेक्षण में बाधा उत्पन्न हुई। आज जिला कलेक्टर परिसर में बीआरपी एवं वीआरपी संघ उदयपुर द्वारा सामाजिक अंकेक्षण में आ रही बाधा को दूर कर सतर्कता से जांच कर मनरेगा एक्ट की पालना कर सामाजिक अंकेक्षण सुनिश्चित करने हेतु निदेशक सामाजिक लेखा परीक्षा जवाबदेही एवं पारदर्शिता सोसायटी( SSAAT) ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग शासन सचिवालय जयपुर एवं प्रमुख शासन सचिव ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग जयपुर के नामजिला कार्यक्रम अधिकारी (मनरेगा) एवं जिला कलेक्टर उदयपुर व अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी समन्वयक( महानरेगा)एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी जिला परिषद उदयपुर को ज्ञापन के माध्यम से अवगत कराया कि सामाजिक अंकेक्षण मनरेगा एक्ट के अनुसार कार्यों का भौतिक सत्यापन एवं समय पर सामाजिक अंकेक्षण के दस्तावेज की प्रमाणित प्रति उपलब्ध करवाऐ ताकि भारत सरकार एवं राजस्थान- सरकार की मंशा के अनुसार भौतिक सत्यापन की प्रक्रिया समय पर संपादित की जा सके। इस अवसर पर बीआरपी संघ के उदयपुर जिला अध्यक्ष कालू लाल मेघवाल सलूंबर के साथ ऋषभदेव से दिलीप कुमार मीणा एवं बंशीलाल मीणा ,कुराबड से भंवरलाल लोहार , मावली से भगवान लाल जाट एवं ललित नारायण आमेटा, झाडोल से मांगीलाल खराड़ी , भीण्ङर से किशन लाल अहीर एवं प्रेमलाल मीणा, झाडोल से शंकरलाल कसोटा, खेरवाड़ा से चंदूलाल मेघवाल एवं धनराज दरोगा ओर शांति मेघवाल , गोगुंदा से किशन लाल मेघवाल आदि के साथ एवं वीआरपी मिलकर ज्ञापन दिया गया।